Pars Today
बहरैन की आले ख़लीफ़ा सरकार, सुरक्षा बलों के हाथों अल-देराज़ इलाक़े में शहीद होने वाले शिया मुसलमानों के अंतिम संस्कार में भी रोड़े अटका रही है।
बहरैन में राजनैतिक कार्यकर्ताओं के विरुद्ध आले ख़लीफ़ा शासन की अत्याचारपूर्ण कार्यवाहियां रुकने का नाम ही नहीं ले रही हैं और इस देश की सरकार ने राजनैतिक कार्यकर्ताओं की नागरिकताएं छीनने, उनको जेलों में डालने का क्रम जारी रखा है।
सीरिया में सक्रिय कुछ सशस्त्र गुटों ने उस संघर्ष विराम के विरोध की घोषणा की है जो 30 दिसंबर 2016 से जारी था।
रूसी सूत्रों का कहना है कि पूर्वी हलब में 97 प्रतिशत से अधिक क्षेत्रों पर नियंत्रण खोने वाले सैकड़ों सरकार विरोधियों ने सेना के सामने हथियार डाल दिए हैं।
यह पहली बार है जब डोनल्ड ट्रंप के अमेरिका का राष्ट्रपति चुने जाने के बाद बराक ओबामा ने इस प्रकार का बयान दिया है
सऊदी शासन ने पूर्वी सऊदी अरब के शिया बाहु्ल्य क्षेत्र से एक धर्मगुरू को गिरफ़्तार किया है।
सऊदी अरब को मिस्री द्वीप हवाले किए जाने के विरोध में गिरफ़्तार किए गये 12 लोगों ने भूख हड़ताल आरंभ कर दी है।
सीरिया सरकार के विरोधियों का कहना है कि अरब देशों की सैन्य सहायता के बिना हम सीरिया की सेना से जीत नहीं सकते।