2020 में सीमा पर हिंसा के लिए चीन जिम्मेदारः भारत
भारत के विदेश मंत्री एस जयशंकर ने वास्तविक नियंत्रण रेखा पर 4 वर्षों से तनाव कायम रहने के लिए चीन को जिम्मेदार ठहराया है।
टोकियो में जयशंकर ने कहा कि चीन 2020 में सीमा पर हुई हिंसा का जिम्मेदार है। वह समझौतों का पालन नहीं कर रहा है।
विदेश मंत्री एस जयशंकर ने 2020 में सीमाओं पर हिंसा के लिए चीन को जिम्मेदार ठहराते हुए बृहस्पतिवार को कहा कि उसने भारत के साथ लंबे समय से कायम लिखित समझौतों का पालन नहीं किया। तोक्यो में एक ‘थिंक टैंक’ के कार्यक्रम ‘रायसीना गोलमेज सम्मेलन’ में जयशंकर ने यह भी कहा कि कैसे उन्हें दुनिया के बाकी हिस्सों के प्रति रूस की दिशा में बदलाव की उम्मीद है और वह संभवतः एशिया में कई विकल्प चाहता है। जापान की दो दिवसीय यात्रा पर गये जयशंकर ने बदलती विश्व व्यवस्था पर विस्तार से चर्चा करते हुए कहा कि हिंद-प्रशांत में एक बहुत बड़ा शक्ति परिवर्तन वास्तविकता है। जब क्षमताओं और प्रभाव तथा संभवतः महत्वाकांक्षाओं में बहुत बड़े बदलाव होते हैं, तो सभी महत्वाकांक्षाएं और रणनीतिक परिणाम भी जुड़े होते हैं।
उन्होंने कहा कि अब यह कोई मुद्दा नहीं है कि आपको यह पसंद है या आपको यह पसंद नहीं है। वहां एक वास्तविकता है, आपको उस वास्तविकता से निपटना होगा।
भारत के विदेशमंत्री जयशंकर ने एक सवाल पर कहा कि हम कई चीजों पर असहमत हो सकते हैं, लेकिन जब कोई देश किसी पड़ोसी के साथ लिखित समझौतों का पालन नहीं करता है, तो मुझे लगता है तब रिश्ते की स्थिरता पर सवालिया निशान खड़ा हो जाता है और ईमानदारी से कहूं तो इरादों पर सवाल उठता है। पैंगोंग झील क्षेत्र में हिंसक झड़प के बाद 5 मई, 2020 को पूर्वी लद्दाख सीमा पर गतिरोध पैदा हो गया। जून 2020 में गलवान घाटी में हुई भीषण झड़प के बाद दोनों देशों के संबंधों में काफी गिरावट आई, जो दशकों में दोनों पक्षों के बीच सबसे गंभीर सैन्य संघर्ष था।
जयशंकर ने कहा कि चीन को सीमा प्रबंधन समझौतों का पालन करना चाहिए और भारत-चीन संबंधों में सुधार के लिए वास्तविक नियंत्रण रेखा (एलएसी) पर शांति होनी चाहिए। MM
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