युरोप की स्वाधीनता की परीक्षा, क्या होगा नतीजा?
(last modified Fri, 22 Jun 2018 13:27:01 GMT )
Jun २२, २०१८ १८:५७ Asia/Kolkata
  • युरोप की स्वाधीनता की परीक्षा, क्या होगा नतीजा?

इस्लामी गणतंत्र ईरान के पूर्व विदेशमंत्री और विदेश नीति परिषद के प्रमुख डॅाक्टर कमाल ख़र्राज़ी ने कहा है कि जेसीपीओए से अमरीका के निकल जाने के बाद अब परमाणु समझौते की सुरक्षा ही मुद्दा नहीं बल्कि युरोप की स्वाधीनता और सम्मान को भी कसौटी पर परखा जा रहा है।

कमाल खर्राज़ी ने गुरुवार की रात मेड्रिड में स्पेन के  विदेशमंत्री जोज़ेप बोरेल से भेंट में इस बात का उल्लेख करते हुए कि जेसीपीओए से अमरीका के निकलने के बाद युरोपीय संघ , ईरान के हितों की रक्षा के बारे में कड़ी परीक्षा से गुज़र रहा है, कहा कि यह देखना है कि युरोप , किस तरह से ईरान के हितों की रक्षा करता है। 

उन्होंने इस बात पर बल देते हुए कि , जेसीपीओए की विफलता, मध्य पूर्व के पड़ोसी के रूप में युरोप की सुरक्षा व स्थिरता को प्रभावित कर सकता है, कहा कि अगर युरोप, ईरान के हितों की रक्षा नहीं कर पाया तो फिर ईरान के पास इस समझौते में बाक़ी रहने का कोई  कारण नहीं रह जाएगा। 

इस भेंट में स्पेन के विदेशमंत्री जोज़फ बोरेल ने जेसीपीओए को बेहद मूल्यवान समझौता बताया और उसकी सुरक्षा पर बल देते हुए कहा कि , युरोपीय पुंजीनिवेश बैंक, ईआईबी ने ईरान में सक्रिय युरोपीय कपंनियों के समर्थन की दिशा में प्रभावशाली क़दम उठाए हैं और अगले सप्ताह युरोपीय संघ के विदेशमंत्रियों की बैठक में इस विषय पर चर्चा होगी। (Q.A.)