Feb १७, २०२४ १४:०८ Asia/Kolkata
  • अन्तर्राष्ट्रीय न्यायालय की भी नहीं सुन रहा है ज़ायोनी शासन

हमास ने अन्तर्राष्ट्रीय न्यायालय से ज़ायोनी शासन को उसके किये के विरुद्ध न्यायिक क़दम उठाने की मांग की है।

फ़िलिस्तीन के इस्लामी प्रतिरोध आन्दोलन हमास ने अन्तर्राष्ट्रीय न्यायालय से मांग की है कि ग़ज़्ज़ा में ज़ायोनियों द्वारा किये जाने वाले अमानवीय अपराधों के प्रति इस शासन को ज़िम्मेदार ठहराया जाए।

हमास ने न्यायालय के उस फैसले का स्वागत किया है जिसमें उससे मांग की गई थी कि वह जनसंहार से संबन्धित समझौते के प्रति कटिबद्ध रहे।  हालांकि हमास का यह भी कहना है कि ज़ायोनियों के विरुद्ध न्यायालय के आदेश के बाद से अबतक 28000 से अधिक फ़िलिस्तीनी शहीद हो चुके हैं जिससे पता चलता है कि अवैध ज़ायोनी शासन, अन्तर्राष्ट्रीय नियमों के प्रति बिल्कुल भी कटिबद्ध नहीं है।

हमास ने संयुक्त राष्ट्रसंघ की सुरक्षा परिषद से भी अनुरोध किया है कि ग़ज़्ज़ा में ज़ायोनियों द्वारा किये जाने वाले हमलों के प्रति वह भी अपने दायित्वों का निर्वाह करे।  इन सारी बातों के बावजूद ज़ायोनियों की ओर से ग़ज़्ज़ा के रफह क्षेत्र पर हमलों का क्रम जारी है।  हालांकि इससे पहले दक्षिणी अफ्रीका भी राष्ट्रसंघ के नरसंहार निषेघ कन्वेंशन को आधार बनाकर 29 दिसंबर 2023 को अन्तर्राष्ट्रीय न्यायालय में ज़ायोनी शासन के विरुद्ध अपनी शिकायत दर्ज करवा चुका है।

अन्तर्राष्ट्रीय न्यायालय ने भी 26 जनवरी 2024 को ज़ायोनी शासन से जनसंहार रोकने की मांग की थी। 7 अक्तूबर 2023 के बाद से ग़ज़्ज़ा में ज़ायोनियों के हमलों में अबतक 28663 फ़िलिस्तीनी शहीद हो चुके हैं।  इन अमानवीय हमलों में घायल होने वाले फ़िलिस्तीनियों की संख्या 68395 बताई जा रही है। 

टैग्स