नतन्ज़ में दुर्घटना कैसे हुई, कारण बाद में एलान करने की वजह क्या है, क्या होगी ईरान की रणनीति?
प्राकृतिक रूप से गुरुवार को नतन्ज़ परमाणु प्रतिष्ठान में हुई दुर्घटना, इस बात को छोड़ते हुए कि ईरान को कितना अधिक नुक़सान हुआ, रणनैतिक महत्व रखती है और इसके कारणों का पता लगाने और भविष्य में इस प्रकार की दुर्घटना को रोकने के लिए आवश्यक है कि तेहरान रणनैतिक फ़ैसला करे।
इस दुर्घटना को चार दिन हो रहे हैं। बताया जाता है कि गुरुवार को नतन्ज़ में शहीद अहमदी रोशन काम्पलेक्स के एक खुले मैदान में बनायी जाने वाली एक युनिट में दुर्घटना हुई जिसमें कोई जानी नुकसान नहीं हुआ और न ही परमाणु प्रतिष्ठान का काम प्रभावित हुआ। इस शेड में किसी तरह का कोई रेडियो एक्टिव पदार्थ नहीं था और इस घटना के बाद रेडियो एक्टिव पदार्थों के रिसाव की बात पूरी तरह से निराधार है।
घटना के तुरंत बाद ही विभिन्न ज़िम्मेदार विभागों के विशेषज्ञ घटना स्थल पर पहुंच गए और उन्होंने जांच आरंभ कर दी। नतन्ज़ के शहीद अहमदी रोशन परमाणु संयंत्र के एक निर्माणाधीन शेड में होने वाली घटना से बहुत सीमित नुक़सान हुआ है। राष्ट्रीय सुरक्षा परिषद के सचिवालय के प्रवक्ता कैवान ख़ुसरवी ने बताया कि इस घटना के बारे में कई विचार थे और विशेषज्ञों ने घटनास्थल, नुक़सान की मात्रा और अन्य बातों की गहन समीक्षा करके घटना की मुख्य वजह निर्धारित कर दी है। उन्होंने कहा कि सुरक्षा कारणों से इस घटना की वजह की घोषणा उचित समय पर की जाएगी। यह घटना अंतर्राष्ट्रीय मीडिया के ध्यान का केन्द्र बन गयी और अजीबो ग़रीब अफ़वाहें फैलने लगीं।
यह बात अहम नहीं है कि यह दुर्घटना हुई कैसे, अहम यह है कि ईरान के परमाणु प्रतिष्ठान के बारे में यह घटना है इसीलिए अंतर्राष्ट्रीय मीडिया के ध्यान का केन्द्र बन गयी है।
इस दुर्घटना के घटते ही, यहां तक कि कुछ मीडिया सूत्रों में जिनमें से अधिकतर का संबंध इस्राईल से था, यह बताया जाने लगा कि इस्राईल में इस्राईल का हाथ है और यह बताया जाने लगा कि इस इमारत पर इस्राईल के एफ़-16 और एफ़-35 युद्धक विमानों से कार्यवाही की गयी। इस दुर्घटना में इस्राईल के हाथ होने से यह दिखाने की कोशिश की गयी कि इस्राईल कितना शक्तिशाली है।
यद्यिप इस्राईली और पश्चिमी मीडिया ने इस दुर्घटना के आरंभ से इस घटना को विस्तृत पैमाने पर करवेज दिया और इस घटना को इस्राईल की आप्रेशन और ख़ुफ़िया शक्ति से जोड़ना शुरु कर दिया किन्तु इस्राईली अधिकारियों का बयान पूरी तरह से अलग था।
ज़ायोनी प्रधानमंत्री ने खुलकर नतन्ज़ साइट दुर्घटना में लिप्त होने के बारे में कोई बयान न दिया और उन्होंने केवल इतना ही कहा कि हम इस बारे में खुलकर कुछ भी नहीं कह सकते।
ज़ायोनी युद्धमंत्री बनी गान्टज़ ने भी आर्मी रेडियो से बात करते हुए कहा कि परमाणु शक्ति से संपन्न ईरान वह चीज़ है जिसकी हम कभी भी अनुमति नहीं देंगे, हम ईरान का रास्ता जिस तरह से भी संभव होगा रोकेंगे।
बनी गान्टज़ ने इस सवाल के जवाब में कि क्या इस्राईल का इस ख़ुफ़िया धमाके में हाथ है या नहीं? तो उन्होंने कहा कि परमाणु शक्ति से संपन्न ईरान हमारे लिए ख़तरा है, लेकिन इसको हर घटना से जोड़ा नहीं जा सकता।
ज़ायोनी विदेशमंत्री गाबी इश्कनाज़ी ने भी इस प्रकार का बयान देते हुए दावा किया कि इस्राईल ने ईरान के परमाणु ख़तरे को रोकने के लिए कारवाही की लेकिन बेहतर है कि ईरान के विरुद्ध इस्राईल की कार्यवाही को अनदेखी कर दिया जाए।
इस्लामी गणतंत्र ईरान ने अभी तक इस बारे में पारदर्शिता का प्रदर्शन किया और कहा कि घटना के कारणों को बाद में बयान किया जाएगा।
निसंदेह ईरान ने इस घटना के कारणों को बाद में बयान करने की घोषणा करके यह दिखाने की कोशिश की है कि मामले की गहन समीक्षा की जा रही है और उचित समय पर और उचित रणनीति के साथ कारणों को बयान किया जाएगा। (AK)
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