Oct ३०, २०२१ १०:११ Asia/Kolkata
  • इस्राईली राजदूत ने फाड़ दी अंतर्राष्ट्रीय संस्था की रिपोर्ट, यूरोप ने कहा ग़ैर क़ानूनी यहूदी बस्तियों को मान्यता नहीं

संयुक्त राष्ट्र संघ में ग़ैर क़ानूनी शासन इस्राईल के राजदूत गिलआद अरदान ने मानवाधिकार परिषद की रिपोर्ट फाड़ी जिसमें फ़िलिस्तीनियों के ख़िलाफ़ इस्राईल के अमानवीय अपराधो की आलोचना की गई है। इस बीच यूरोपीय संघ ने इस्राईल से अपनी मांग दोहराई है कि वह अवैध क़ब्ज़े वाले फ़िलिस्तीनी इलाक़ों में यहूदी बस्तियों का निर्माण बंद करे।

मानवाधिकार परिषद की रिपोर्ट में ख़ास तौर पर ग़ज़्ज़ा पट्टी और इसके अलावा अन्य इलाक़ों में इस्राईल के अपराधों की निंदा की गई है।

इस्राईली राजदूत ने इस रिपोर्ट को फाड़ते हुए कहा कि तथाकथित मानवाधिकार परिषद के शोरशराबे की वजह से दुनिया मानवता के ख़िलाफ़ होने वाले भयानक अपराधों की आवाज़ नहीं सुन पाती।

इस्राईली राजदूत ने कहा कि 15 साल पहले जब इस परिषद की स्थापना हुई उस समय से लेकर अब तक वह लगातार हमारी निंदा ही किए जा रही है।

अरदान ने कहा कि परिषद ने ईरान की केवल 10 बार और सीरिया की केवल 35 बार निंदा की जबकि हमारी निंदा 95 बार की है। इस्राईली राजदूत का इशारा मानवाधिकार परिषद के प्रस्तावों की ओर था जो इस्राईल के अपराधों की निंदा में पारित किए गए।

अरदान ने कहा कि इस रिपोर्ट की जगह कूड़ेदान है और हम इसके साथ यही करेंगे। इसके बाद इस्राईली राजदूत ने सबके सामने इस रिपोर्ट को फाड़ दिया।

दूसरी ओर यूरोपीय संघ ने इस्राईल की बस्तियों के निर्माण की योजना को ख़ारिज करते हुए कहा कि 1967 की सीमाओं में किसी भी तरह का बदलाव स्वीकार नहीं किया जाएगा।

यूरोपीय संघ ने इस्राईल से मांग की कि वह 30 बस्तियों के निर्माण की योजना को रोके। यूरोपीय संघ ने एक बयान में कहा कि यह बस्तियां ग़ैर क़ानूनी हैं और टू-स्टेट समाधान के मार्ग में यह सबसे बड़ी रुकावट है।

यूरोपीय संघ ने कहा कि हालात को बेहतर करने के लिए जारी अंतर्राष्ट्रीय कोशिशों के मार्ग में इस्राईल की गतिविधियां रुकावट पैदा कर रही हैं।

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