Feb २३, २०२४ २०:४१ Asia/Kolkata

24 फरवरी 2022 को रूस ने यूक्रेन के खिलाफ विशेष सैन्य ऑप्रेशन आरंभ किया था। इस अवधि में अब तक दोनों पक्षों की ओर से हज़ारों लोगों की जान जा चुकी है और न जाने यह युद्ध अभी और कब तक चलेगा?

इस संबंध में सबसे पहला सवाल यह है कि यह युद्ध क्यों आरंभ हुआ? इसके जवाब में जानकार हल्कों का कहना है कि रूस और अमेरिका की दुश्मनी किसी से ढ़की छिपी बात नहीं है। अमेरिका ने यूक्रेन को उकसा कर नाटो का सदस्य बन जाने का झांसा दिया और यूक्रेन अमेरिका के इस झांसे में आकर हर वह कार्य करने लगा जो वाशिंग्टन उससे चाहता था।

बहुत से जानकार हल्कों का कहना है कि यूक्रेन अमेरिका की छावनी बन गया है और अमेरिका अपनी युद्धोन्मादी मंडली के साथ पूर्वी यूरोप की ओर बढ़ने लगा जिसे रूस अपनी राष्ट्रीय सुरक्षा के लिए खतरा समझने लगा और रूस यूक्रेन को बारमबार नाटो में शामिल होने से मना किया था और इसे उसने अपनी रेड लाइन घोषित किया था परंतु यूक्रेन ने रूस की इच्छाओं व मांगों पर कोई ध्यान नहीं दिया और अमेरिका और नाटो की इच्छापूर्ति में लगा रहा यहां तक कि 24 फरवरी 2022 को रूस ने यूक्रेन पर हमला कर दिया और यूक्रेन के कुछ क्षेत्रों पर नियंत्रण कर लिया।

दूसरे देशों को रूस-यूक्रेन के मध्य जारी युद्ध को समाप्त कराने की कोशिश करना चाहिये था मगर युद्ध को खत्म कराने के बजाये अमेरिका और दूसरे पश्चिमी व यूरोपीय देशों ने यूक्रेन के लिए हथियारों की खेप भेजना आरंभ कर दिया जिसकी वजह से यह युद्ध आज तक जारी है और दोनों पक्षों की ओर से अब तक जान माल की भारी क्षति हो चुकी है।

सवाल यह उठता है कि अमेरिका, पश्चिमी व यूरोपीय देश रूस और यूक्रेन के बीच जारी युद्ध को खत्म कराने के बजाये हथियारों की खेप क्यों भेज रहे हैं इससे इन देशों विशेषकर अमेरिका को क्या लाभ होगा? इसके जवाब में जानकार हल्कों का कहना है कि अमेरिका पूरी दुनिया पर अपना वर्चस्व व आधिपत्य जमाना चाहता है और इस दिशा की सबसे बड़ी रुकावट रूस है और इस रुकावट को दूर करने के लिए वह यूक्रेन की मदद करने में किसी प्रकार के संकोच से काम नहीं ले रहा है।

कुछ जानकार हल्कों का मानना है कि रूस-यूक्रेन के मध्य जारी युद्ध वास्तव में अमेरिका, पश्चिमी व यूरोपीय देशों और रूस के मध्य हो रहा है, यूक्रेन तो अमेरिका की वर्चस्ववादी नीतियों की भेंट चढ़ा है।

अमेरिका इस युद्ध के माध्यम से रूस की कमर तोड़कर उसे कमज़ोर कर देना चाहता है ताकि उसके वर्चस्व के मार्ग की सबसे बड़ी रुकावट खत्म हो जाये। रूस और यूक्रेन के मध्य जारी लड़ाई में अब तक हज़ारों लोग मारे जा चुके हैं परंतु अमेरिका और उसके पिछलग्गू देश युद्ध विराम कराने के बजाये यूक्रेन के लिए हथियारों की खेप भेज रहे हैं। दूसरे शब्दों में अमेरिका और दूसरे पश्चिमी व यूरोपीय देश यूक्रेन के लिए हथियारों की खेप भेजकर आग में घी डालने का काम करे हैं और जब तक हथियार भेजने का सिलसिला जारी रहेगा तबतक इस युद्ध के समाप्त होने की अपेक्षा आशा से परे है। MM

हमारा व्हाट्सएप ग्रुप ज्वाइन करने के लिए क्लिक कीजिए

हमारा टेलीग्राम चैनल ज्वाइन कीजिए

हमारा यूट्यूब चैनल सब्सक्राइब कीजिए!

ट्वीटर पर हमें फ़ालो कीजिए 

फेसबुक पर हमारे पेज को लाइक करें।

टैग्स