तालेबान चाहते हैं कि पाकिस्तान से दोस्ती हो जाए
तालेबान चाहते हैं कि वार्ता के माध्यम से पाकिस्तान के साथ समस्याओं का समाधान किया जाए।
पाकिस्तान के विदेश मंत्रालय में स्ट्रैटेजिक अध्ययन केन्द्र के प्रमुख सुहैल महमूद के साथ भेंट में तालेबन के विदेशमंत्री अमीर ख़ान मुत्तक़ी ने इस्लामाबाद की ओर से काबुल पर लगाए जाने वाले आरोपों की आलोचना की।
उन्होंने कहा कि मतभेदों को दूर करने के लिए संचार माध्यमों में अपनी बात कहने से पहले दोनो पक्षों के बीच वार्ता होनी चाहिए। बुधवार को तालेबान के विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता के सलाहकार हाफ़िज़ ज़िया ने बताया कि अमीर खान मुत्तक़ी ने पाकिस्तान के अधिकारियों के साथ भेंट में इस बात को स्पष्ट किया है कि मीडिया में बयान देने के बजाए पहले समस्या के मूल कारण को समझने की कोशिश की जाए।
इसी बीच सुहैल महमूद ने आशा जताई है कि तालेबान के साथ वार्ता के माध्यम से समस्या का समाधान किया जा सकता है। कल ही तालेबान के गृहमंत्री सेराजुद्दीन हक़क़ानी कह चुके हैं कि पाकिस्तान की हालिया घटनाओं का संबन्ध, उसकी आंतरिक समस्या है जिसको उन्हें स्वयं ही हल करना चाहिए।
पाकिस्तान का दावा है कि हालिया महीनों के दौरान देश के भीतर जो घटनाएं घटी हैं उनमें तालेबान का हाथ है। इस्लामाबाद का कहना है कि इस बारे में प्रमाणों को अफ़ग़ानिस्तान भेजा जा चुका है। पाकिस्तान के विदेशमंत्री बेलावल भुट्टो कह चुके हैं कि अगर आतंकवादी गुटों के विरुद्ध तालेबान कार्यवाही नहीं करते हैं तो हम अपनी सुरक्षा के लिए स्वयं क़दम उठाएंगे।
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