इस्राईल मुर्दाबाद के नारों से फिर गूंज उठी ईरानी संसद!!!
ईरान की संसद मजलिसे शूराए इस्लामी के सांसदों ने क्षेत्रीय शांति और सुरक्षा के विरुद्ध अवैध ज़ायोनी शासन की शत्रुतापूर्ण कार्यवाहियों का भरपूर मुक़ाबला करने के लिए अहम प्रस्ताव पारित किया। यह ऐसा प्रस्ताव है जिस पर तुरंत अमल करना ज़रूरी है।
संसद की विदेश नीति और राष्ट्रीय सुरक्षा आयोग के प्रमुख मुजतबा ज़ुन्नूरी ने मंगलवार को संसद की खुली बैठक में कहा कि ज़ायोनी शासन ने अपने मनहूस अस्तित्व के सात दशक के दौरान क्षेत्रीय जनता और मुसलमानों के लिए अनेक समस्याएं पैदा की हैं और यह शासन पिछले वर्षों के दौरान ईरान के विरुद्ध समस्त क्षेत्रीय शैतानियों और उदंडताओं का केन्द्र रहा है।
मुजतबा ज़ुन्नूरी ने कहा कि आज परमाणु और आर्थिक केन्द्रों के विरुद्ध इस्राईल के साइबर और इलेक्ट्रानिक हमले हो रहे हैं और यह शासन प्रतिबंधों के सहारे और सुरक्षा परिषद के प्रस्तावों की अनदेखी करते हुए ईरानी जनता के लिए समस्याएं पैदा करने के प्रयास में है।
संसद की विदेश नीति और राष्ट्रीय सुरक्षा आयोग के प्रमुख मुजतबा ज़ुन्नूरी ने कहा कि इस प्रस्ताव पर संसद का बहुमत, प्रतिरोध, स्वतंत्रता और सत्यप्रेमी आंदोलनों के लिए संदेश है कि ईरान का संविधान भी जिस पर बल देता है।
ज्ञात रहे कि तुरंत अमल होने वाले इस प्रस्ताव पर मतदान और बहुमत से पास होने के बाद ईरान की संसद इस्राईल मुर्दाबाद के नारों से गूंज उठी। (AK)